लखनऊ। बाबासाहेब भीमराव अम्बेडकर विश्वविद्यालय में भगिनी निवेदिता महिला विकास प्रकोष्ठ की ओर से ‘स्वस्थ नारी सशक्त परिवार अभियान’ के तहत जागरूकता एवं परामर्श सत्र का आयोजन किया गया। स्वस्थ नारी सशक्त परिवार अभियान भारत सरकार के स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय और महिला एवं बाल विकास मंत्रालय द्वारा शुरू की गयी पहल है, जिसका उद्देश्य देश में महिलाओं और बच्चों के स्वास्थ्य और पोषण में सुधार लाना है। मंच पर मुख्य वक्ता के तौर अपोलो अस्पताल, लखनऊ की स्त्री एवं प्रसूति रोग विशेषज्ञ और किंग जॉर्ज मेडिकल विश्वविद्यालय की पूर्व डीन अकेडमिक प्रो. विनीता दास, किंग जॉर्ज मेडिकल विश्वविद्यालय के स्त्री कैंसर विज्ञान विभाग की प्रोफेसर एवं हेड प्रो. निशा सिंह, कार्यक्रम की अध्यक्षता कर रहीं गृह विज्ञान विद्यापीठ,बीबीएयू की संकायाध्यक्ष प्रो. यूवी किरण एवं भगिनी निवेदिता महिला विकास प्रकोष्ठ की चेयरपर्सन प्रो. सुमन मिश्रा उपस्थित रहीं। कार्यक्रम की शुरुआत दीप प्रज्वलन एवं बाबासाहेब के छायाचित्र पर पुष्पांजलि अर्पित करने के साथ हुई। विश्वविद्यालय कुलगीत गायन के पश्चात आयोजन समिति की ओर से अतिथियों को पौधा भेंट करके उनके प्रति आभार व्यक्त किया गया। सर्वप्रथम प्रो. सुमन मिश्रा ने कार्यक्रम में उपस्थित सभी लोगों का स्वागत किया एवं सभी को कार्यक्रम के उद्देश्य एवं रुपरेखा से अवगत कराया। मंच संचालन का कार्य डॉ. लीना शरद शिम्पी द्वारा किया गया।
अपोलो अस्पताल, लखनऊ की स्त्री एवं प्रसूति रोग विशेषज्ञ और किंग जॉर्ज मेडिकल विश्वविद्यालय की पूर्व डीन अकेडमिक डॉ. विनीता दास ने ‘ब्रेकिंग द साइलेंस दृ लेट्स टॉक अबाउट वीमेंस हेल्थ’ विषय पर अपने विचार व्यक्त करते हुए कहा कि प्रत्येक आयु वर्ग की महिलाओं के लिए समग्र और प्रभावी स्वास्थ्य देखभाल अत्यंत आवश्यक है। उन्होंने स्पष्ट किया कि शारीरिक और मानसिक स्वास्थ्य, दोनों की बेहतरी के लिए सही खानपान, नियमित जांच और समय पर उपचार जरूरी हैं। इस दौरान उन्होंने महिलाओं में पाई जाने वाली प्रमुख स्वास्थ्य समस्याओं जैसे हीमोग्लोबिन की कमी, ब्लड प्रेशर, शुगर लेवल, विटामिन डी की कमी आदि पर विस्तार से चर्चा की और बताया कि इन असंतुलनों के कारण उच्च रक्तचाप, एनीमिया, डायबिटिक फुट, स्ट्रोक और ब्लड वेसल्स की क्षति जैसी गंभीर बीमारियां उत्पन्न हो सकती हैं। इसके साथ ही डॉ. विनिता ने सभी को जागरूक करते हुए सर्वाइकल कैंसर, स्तन कैंसर और बॉडी मास इंडेक्स से संबंधित महत्वपूर्ण जानकारियां साझा कीं। उन्होंने टीकाकरण और बचाव की अहमियत बताते हुए टिटनेस, हेपेटाइटिस, एचपीवी और इन्फ्लुएंजा जैसी बीमारियों के टीकों के महत्व पर जोर दिया। उन्होंने महिलाओं से आग्रह किया कि वे अपनी सेहत को लेकर सजग रहें और नियमित स्वास्थ्य परीक्षण के साथ-साथ संतुलित जीवनशैली अपनाएं ताकि न केवल उनका शारीरिक स्वास्थ्य बेहतर हो बल्कि मानसिक रूप से भी वे सशक्त और स्वस्थ रह सकें।
किंग जॉर्ज मेडिकल विश्वविद्यालय के स्त्री कैंसर विज्ञान विभाग की प्रोफेसर एवं हेड डॉ. निशा सिंह ने ‘महिलाओं में कैंसर की जागरूकता और रोकथाम’ विषय पर अपने विचार रखते हुए कहा कि महिलाओं के स्वास्थ्य की सबसे बड़ी चुनौतियों में से एक विभिन्न प्रकार के कैंसर हैं। उन्होंने सर्वाइकल कैंसर, स्तन कैंसर और विशेष रूप से ओवेरियन कैंसर की विस्तृत जानकारी दी। डॉ. निशा ने बताया कि ओवेरियन कैंसर महिलाओं में अक्सर देर से पहचाना जाता है, क्योंकि इसके लक्षण शुरूआती अवस्था में स्पष्ट रूप से दिखाई नहीं देते इसीलिए समय-समय पर जांच और जागरूकता ही प्रारंभिक अवस्था में कैंसर का पता लगाने और सफल इलाज का सबसे बड़ा उपाय है। उन्होंने आगे कहा कि महिलाओं को स्वस्थ जीवनशैली अपनानी चाहिए, जिसमें संतुलित आहार, नियमित व्यायाम और तनाव नियंत्रण विशेष रूप से जरूरी हैं। डॉ. निशा ने पुरुषों और महिलाओं दोनों के लिए प्रजनन स्वास्थ्य से जुड़े बचाव के उपायों, महिलाओं में मेनोपॉज के समय आने वाली समस्याओं और आहार प्रबंधन के महत्व पर भी प्रकाश डाला। औ। उन्होंने सभी महिलाओं से आग्रह किया कि वे अपनी सेहत के प्रति सजग रहें और समय पर उचित जांच एवं परामर्श लेकर खुद को और अपने परिवार को सुरक्षित रखें।
गृह विज्ञान विद्यापीठ, बीबीएयू की संकायाध्यक्ष प्रो. यू.वी. किरण ने आयोजन समिति को इस प्रकार के जागरूकता कार्यक्रम के सफल आयोजन के लिए बधाई और शुभकामनाएँ देते हुए कहा कि आज के समय में ऐसे कार्यक्रम अत्यंत आवश्यक हैं, क्योंकि स्वास्थ्य संबंधी जागरूकता ही बीमारियों की रोकथाम का पहला कदम है। उन्होंने युवाओं, विशेषकर पुरुषों को भी इन अभियानों और कार्यक्रमों में सक्रिय रूप से भाग लेने के लिए प्रेरित किया, ताकि समाज का प्रत्येक वर्ग स्वास्थ्य संबंधी जानकारी से लाभान्वित हो सके। प्रो. किरण ने कैंसर की रोकथाम पर भी अपने विचार रखते हुए कहा कि समय-समय पर स्वास्थ्य जांच, संतुलित आहार, नियमित व्यायाम और जागरूक जीवनशैली अपनाकर कैंसर जैसी गंभीर बीमारियों से बचाव संभव है।
कार्यक्रम के दौरान अतिथियों द्वारा विद्यार्थियों एवं शिक्षकों की ओर से पूछे गये प्रश्नों का उत्तर भी दिया गया। साथ ही आयोजन समिति की ओर से अतिथियों को शॉल एवं स्मृति चिन्ह भेंट करके उनके प्रति आभार व्यक्त किया गया।
अंत में डॉ. मोनिका शर्मा ने धन्यवाद ज्ञापित किया। समस्त कार्यक्रम के दौरान विभिन्न शिक्षक, गैर शिक्षण अधिकारीगण, कर्मचारी, शोधार्थी एवं विद्यार्थी मौजूद रहे।
स्वस्थ नारी सशक्त परिवार अभियान: जागरूकता एवं परामर्श सत्र का आयोजन
